क्या आप परेशान हैं ? ( इस देश में सुखी कौन है ) क्या आपको बार-बार किसी की बुरी नजर लग जाती है ? ( भले ही ऐश्वर्या राय को आज तक नजर ना लगी हो ) क्या आपको आपके व्यवसाय में घाटा हो रहा है ? ( लगता है राजनीति का धंधा नहीं करता ) क्या आप गरीब है ? ( भ्रष्टाचारियों को छोड़ इस देश में सब गरीब हैं ) क्या आपका बच्चा पढ़ाई में कमजोर है ? क्या आप माँ नहीं बन सकती ? क्या आपकी बेटी की शादी नहीं हो रही है ? या बार-बार सगाई होकर सम्बन्ध टूट रहा है ! नई गाड़ी का एक्सिडेंट हो गया है ! क्या आपका पति आप से ज्यादा किसी और को चाहता है ? क्या आपके पास हैं इस तरह की कोई समस्या ? तो फिर आप देर क्यों कर रहे है ! अब हम करेंगे आपकी हर समस्या को दूर ! हमारे पास है आपकी सभी परेशानियों का समाधान , उचित उपाय, हमे फोन कीजिये और जीवन की हर समस्या के मुक्ति पाइए ! आप सही जगह आ गए हैं ! यहाँ आपको मिलेगा आपकी हर समस्या का समाधान ! अब देर मत कीजिये और आज ही फोन कीजिये और आज ही मंगवाइये नजर सुरक्षा कवच या फिर " हनुमानजी कवच " या फिर " शिव मंत्रित एक मुखी रुद्राक्ष " अपनी गरीबी को दूर करने के लिए आज ही हमसे संपर्क कीजिये और विश्वाश कीजिये आप जल्द ही धनवान बन जायेंगे और आपके सभी कष्ट छूमंतर हो जायेंगे ! क्योंकि आपको मिल रहा है सिर्फ हमारे पास सबसे सस्ता " लक्ष्मी यंत्र " और चरण पादुकाएं ! आज ही फोन करने पर आपको यह फ्री मिलेगा और वो फ्री मिलेगा ! आज आप कोई भी टीव्ही चैनल उठाकर देख लीजिये सुबह हो शाम , दिन हो या रात हर वक़्त कोई ना कोई कुछ ना कुछ बेचता हुआ अवश्य मिलेगा ! जब एक गरीब , और दिन रात मेहनत कर एक-एक पैसा कमाने वाला इस तरह के विज्ञापन जब टेलीविजन पर देखता है तो वो क्या सोचता है इन विज्ञापनों के बारे में ? क्या २०००-३००० रूपए खर्च करने पर हम अपनी गरीबी दूर कर सकेंगे ? क्या दहेज़ के लालची इंसानों के बीच हम अपनी बेटी की शादी बिना दहेज़ के कर सकेंगे ? क्या हमारी सभी मनोकामनाएं पूरी हो जाएँगी ? हमारे सभ्य और पढ़े-लिखे समाज में आज अन्धविश्वास बेचा जा रहा है ! और हम सब बढ़ चढ़कर अन्धविश्वाश खरीद रहे हैं ! जो लोग जरा से भी अन्धविश्वासी होते हैं या इन सब बातों में जरा भी यकीं रखते हैं ! वो लोग ऐसे झूंठे आश्वासनों में तुरंत फंस जाते हैं ! ऐसे उत्पादों को बेचने वालों के निशाने पर ऐसे ही अन्धविश्वाशी लोग होते हैं जो जरा सी बात पर तंत्र-मन्त्र का सहारा लेते हैं और इनके चक्कर में अपना समय और पैसा बर्बाद करते हैं ! आज जिसे देखो अन्धविश्वास की दूकान खोलकर बैठ गया है ! और हम सब को पूरी तरह अन्धविश्वासी बना रहा है ! क्या वाकई में ऐसा कोई कवच है ? जो इन्सान की सभी समस्याएं दूर कर सकता हो ! और इंसान को एक ऊंची बुलंदी पर पहुंचा सकता हो ! यदि ऐसी कोई चीज होती तो इंसान आज गरीब क्यों होता ? क्यों बेरोजगार होता ? क्यों आज इतना दुखी होता ? हर कोई छोटी मोटी रकम देकर अपनी सभी समस्याएं दूर कर लेता ! आज का इन्सान पहले बिना सोचे समझे गलत कदम उठाता है फिर बाद में अपनी गलतियों पर पछतावा मनाता है ! वो अपनी गलतियों से सबक नहीं लेता और सच बात को नकार कर अन्धविश्वाश को बढ़ावा देता है ! हिंदुस्तान में संवेदनशील लोगों की कमी नहीं हैं " रस्सी को सांप " समझने वालों की भी कमी नहीं है ! इसके पीछे कहीं ना कहीं हमारी रूढ़ी वादी परम्पराएँ और धर्म के नाम पर ठगने के लिए फैलाई गयी अनेकों भ्रांतियां है ! कहीं ना कहीं हमारा नम्र स्वभाव भी इसका एक कारण होता है ! नम्र स्वभाव हम सभी की एक विशेष पहचान होती है ! ऐसा स्वभाव जिसमे सब कुछ सच होता है किसी भी तरह का दिखावा या झूंठ नहीं होता ! इसलिए हम सब सहसा किसी भी बात पर बिना सोचे समझे विश्वास कर लेते हैं ! यह हमारी कमजोरी भी है , और हमारी पहचान और ताक़त भी जो हमें पूरे विश्व में एक अलग पहचान देती है ! ठीक उसी तरह हिंदुस्तान में अन्धविश्वाश को मानने वालों की भी कमी नहीं है ! अन्धविश्वाश जिसका अस्तित्व सच से कहीं परे होता है और जो टिका होता है कहीं ना कहीं सिर्फ एक झूंठ पर , जिनका इन्सान के जीवन से कहीं दूर- दूर तक कोई लेना-देना नहीं होता ! इस तरह के उत्पाद बेचने बाले हमारे भोलेपन का फायदा उठाते हैं और धीरे धीरे हमें अपनी जकड में ले लेते है ! आज इस अन्धविश्वाश के चक्कर में हम अपना असली सुख खो रहे हैं ! कहा जाता हैं अन्धविश्वाश भोलेभाले गाँव वालों में ज्यादा देखने को मिलता है ! जो अनपढ़ होते हैं वो अन्धविश्वाश पर जल्दी यकीं कर लेते हैं ! किन्तु आज हमारा पढ़ा लिखा और जाग्रत समाज भी कहीं ना कहीं अन्धविश्वाश के जाल में पूरी तरह फंसा हुआ है ! ज्यादा और जल्दी बुलंदी पाने के लिए वह आज अन्धविश्वाश की दुकानों को चलाने में अपना पूरा-पूरा योगदान दे रहा है ! आज ऐसे इन्सान अपने कर्म से ज्यादा अपनी किस्मत को ज्यादा मानते हैं ! और एक अन्धविश्वाश उनके साथ हमेशा रहता है ! हमने देखा हैं इस अन्धविश्वास का परिणाम ! किस तरह इंसान भटक जाता है सही मार्ग पर चलने से ! अगर हम इसी तरह इनके जाल में फंसते रहे तो एक दिन इस हिंदुस्तान में सिर्फ अन्धविश्वाश होगा ! और इस तरह की दुकानें दिन दूनी रात चौगुनी तरक्की करेंगी और हमारी आम जनता जीवन भर इस अन्धविश्वाश से बाहर नहीं निकल पाएगी !
आज मैं भी एक दूकान खोल रहा हूँ ! क्या आप मेरी दूकान पर आकर मुझसे अन्धविश्वाश खरीदेंगे ! आप मेरी दुकान पर आयें और अपने कष्टों को दूर भगाएं .....
क्या हम अन्धविश्वाशी हैं ? या हमें बनाया जा रहा है !
धन्यवाद
Aapne bhee kya,kya likh daala!! Kaash! Aisee koyi dukan hotee jahan ham manshantee khareed sakte!
ReplyDeleteसुंदर प्रुस्तुति... काश सभी दुखो का निवारण इस प्रकार हो पता ...?
ReplyDeleteये तो सभंव ही नही है। अगर ऐसा होता तो जो लोग ये सब बेच रहे है वो इसे क्यों बेचते।
ReplyDeleteदूकान का पता देना भूल गए क्या ....
ReplyDeleteमुझे भी ताबीज चाहिए !
मेरा भी पता आपके पास है या नहीं क़ुछ ताबीज चाहिये
ReplyDeleteसुन्दर प्रस्तुति के लिये साधुवाद
hahaha bahut badhiyaa
ReplyDeleteगंभीर मुद्दे की सहज प्रस्तुति के लिए साधुवाद...
ReplyDeleteभगवान सबको सद्बुद्धि दे, सार्थक आलेख।
ReplyDeleteआपका यह आलेख एक कोशिश है समाज में जागरूकता फ़ैलाने की ...
ReplyDeleteबहुत सही विषय चुना है आपने....
आपको मेरी हार्दिक शुभकामनायें.
हम आ रहे है दूकान का पता दे दे संजय जी
ReplyDeleteवाह संजय जी मजा आ गया आज तो
ReplyDeleteआज मैं भी एक दूकान खोल रहा हूँ ! क्या आप मेरी दूकान पर आकर मुझसे अन्धविश्वाश खरीदेंगे !
अन्धविश्वास में पड़कर लोग लुटे जा रहे हैं ....
ReplyDeleteसार्थक लेख ....
आज हम सिर्फ एक शेर कहेंगे .............
ReplyDeleteज़माने से जो डरते हैं वो बेकार होते हैं |
बदल देते हैं जो माहोल वो खुद्दार होते हैं |
हजारो डूबते हैं नाखुदा के भरोसे पर |
चलाते हैं जो खुद चप्पू वो अक्सर पार होते हैं |
बहुत अच्छा विषय पर इतना जरुर कहूँगी गलती दुकान लगाने वालों की नहीं उसे बदावा देने वालों की है |